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मध्यस्थ दर्शन अध्ययन यात्रा

(*See Roadmap in English)

'मध्यस्थ दर्शन' ज्ञान संपन्न होने एवं जीने का मार्ग है | यहाँ इसके अध्ययन के यात्रा को दर्शाया गया है | इसमें समय लगता है | 

अध्ययन में मुख्य रूप से तीन श्रृंखला है | प्रत्येक श्रृंखला में "चरण" हैं | 

प्रत्येक चरण का अध्ययन-मार्गदर्शिका PDF रूप में उसी भाग में दिया है 


प्रारंभिक श्रृंखला (3 चरण) - Introductory Stage  

“परिचय ब्लॉक-a”

चरण #1  परिचय शिविर

* परिचय शिविर के बाद के पठन एवं अभ्यास के लिए यहाँ देखें

युवा एवं प्रौढ़ों के लिए मध्यस्थ दर्शन की यात्रा सात दिवसीय जीवन विद्या परिचय शिविर से प्रारंभ होता है | जीवन विद्या परिचय शिविर से मनुष्य के जीवन के सम्पूर्ण आयाम एवं सारे परिस्थियों के बारे जानकारी मिलती है, व इनसे सम्बंधित रहस्यों का उन्मूलन होता है, साथ में समाधान का रास्ता स्पष्ट होता है |एक से अधिक प्रबोधक का 2-3 परिचय शिविर करना सुझावित है | इसमें 6 माह से 1 वर्ष का समय लग सकता है |

* परिचय शिविर के सामान्य फल

(*सभी फल, पूर्व संस्कार, अध्ययन-अभ्यास  एवं वातावरण आधीन है)

स्पष्टता

  • मनुष्य जीवन एवं सच्चाई के प्रति स्पष्टता
  • आध्यात्म/इश्वर/देवी देवता सम्बन्धी भ्रम दूर होना
  • व्यक्ति, परिवार, समाज, एवं प्रकृति के स्तर संगीत हेतु व्यक्तिगत समाधान की आवश्यकता स्पष्ट होना
  • मानवीय शिक्षा, उत्पादन, विनिमय, न्याय के प्रति ध्यान जाना
  • जागृत होने, अध्ययन की आवश्यकता स्पष्ट होना
  • जिन्दगी की सार्थक दिशा मिले

~गुणात्मक परिवर्तन

  • रूप/बल/धन/पद के प्रति भ्रम-भय का क्षय होना  
  • भौतिकता से ध्यान हटकर व्यवहार, समाज एवं बौध्दिकता के ओरे जाना
  • व्यवहार में सतर्कता बढ़ेगा, बड़ें गलतियों से बचना
  • निकट संबंधों में ध्यान एवं सुधार: माता-पिता, पति-पत्नी, पुत्र-पुत्री...
परिचय कड़ी अध्ययन मार्गदर्शिका PDF डाउनलोड करें

"अध्ययन ब्लॉक-a"

चरण #4: अध्ययन शिविर  (पुस्तको के साथ प्रथम पठन)

मध्यस्थ दर्शन अध्ययन शिविर विधिवत १२ पुस्तकों का अध्ययन है (4 दर्शन, 3 वाद, 3 शास्त्र, परिभाषा एवं संविधान) | इसमें कोई ज्येष्ठ अध्येता साथ में रहते हैं एवं पूर्ण कालीन अथवा अंश कालीन माध्यम से पूरा किया जा सकता है | इसमें समझने, जीने एवं मानवीय व्यवस्था एवं परंपरा का सम्पूर्ण सूचना सामने आ जाती है, एवं आगे इसे समझने एवं जीने का मन तैयार होता है |अध्ययन शिविर 6 माह से 2 वर्ष,  पूर्ण एवं अंश कालीन विधियों में उपलब्ध हैं | 

 

*इस कड़ी का सामान्य फल 
(*सभी फल, पूर्व संस्कार, अध्ययन-अभ्यास  एवं वातावरण आधीन है)
  • भाषा पर पकड़ बढ़ता है विद्वता 
  • चित्रित करने – सोचने का दायरा विशाल होता है
  • तर्क सटीक होने लगता है
  • मनुष्य जीवन को समझना सुलभ हो गया
  • समस्याओं के मूल कारण ध्यान में आवें, उनका समाधान का पहचान, , परिस्थितियों के लिए अपना जिम्मेदारी स्वीकार होना
  • स्वयं पर ध्यान, व्यवहार पर ध्यान ~ मानवीय आचरण के भास् पूर्वक जीना
पुस्तक अध्ययन मार्गदर्शिका PDF डाउनलोड करें 

 

अभ्यास ब्लॉक

चरण  #6: मनन-अभ्यास गोष्ठी (जारी)

मनन गोष्ठी, सम्पूर्ण वांग्मय पर श्रवण अधिकार के पश्चात, अपने ‘समझ’ जैसे स्वयं होने के लिए, ज्ञान सम्मपन्न होने के लिए केन्द्रित होने के लिए है | इसमें व्यवहार, स्व-मूल्यांकन एवं समझ के मुद्दों पर महीन बा हो पाती है | इस भूमि में भाषा कम हो जाता है, अर्थ अधिक हो जाता है | मनन में प्रौढ़ता आने में कई वर्ष लगता है, यह हमारा पूर्व संस्कार एवं स्वयं प्रमाणित होने के तीव्र इच्छा पर निर्भर करता है |

 

*इस कड़ी का सामान्य फल 
( *सभी फल, पूर्व संस्कार, अध्ययन-अभ्यास  एवं वातावरण आधीन है)
  • स्वयं सुधरने का पक्ष गति लेता है – अमानवीय प्रवृत्तियों की क्षीणता ~ मानवीयतापूर्ण आचरण का आभास पूर्वक जीना
  • अपने कमियों, गलतियों का पहचान, उसमें सुधार
  • दर्शन में अधिकार, विद्वता विकसित हो जाता है
  • तर्क शक्तिशाली हो जाता है ~ प्रज्ञाशील
  • समाज के लिए सार्थक भागीदारी कर पाते हैं
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